रायपुर 25 फरवरी 2024

छत्तीसगढ़ में कुछ ही दिन पहले ED ने  शराब और कोयला घोटाला मामले में 100 पूर्व मंत्री, विधायक और आला अफसरों के खिलाफ एंटी करप्शन ब्यूरो और ईओडब्लू मे FIR दर्ज करवाई थी अब उसी FIR के मामले में एक्शन लेते हुए ACB/ EOW की छत्तीसगढ़ टीम ने छापेमार कार्रवाई शुरू कर दी है |

एंटी करप्शन ब्यूरो और ईओडब्लू ने छत्तीसगढ़ के बहुचर्चित शराब घोटाला मामले में 12 से ज्यादा ठिकानों पर छापेमारी की है। रायपुर, बिलासपुर, दुर्ग समेत कई जिलों में एसीबी और ईओडब्लू ने सुबह तड़के छह हजार करोड़ के शराब घोटाले मामले में शामिल लोगों के यहां दबिश दी है। बताया जाता है कि इस केस में कुल 13 जगहों पर एसीबी और ईओडब्ल्यू की टीम ने रेड मारा है।

इस केस से जुड़ें कारोबारियों में क्रमश: बिलासपुर, सरगांव के भाटिया डिस्टलरी, कोटा के वेलकम डिस्टलरी, दुर्ग जिले के कुम्हारी स्थित केडिया डिस्टलरी, रायपुर के अनवर ढेबर, विवेक ढांड, अनिल टुटेजा सहित कई लोगों के यहां जांच चल रही है। टीम इन जगहों पर पहुंचकर कागजों की जांच-पड़ताल कर ही है। इन सभी करोबारियों के नाम ईडी की चार्जशीट में भी शामिल हैं। अचानक की गई इस कार्रवाई से प्रदेश के शराब कारोबारियों में हड़कंप मचा हुआ है। इस मामले में मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने कहा कि केंद्रीय जांच एजेंसी अपना काम कर रही है। जांच में जो भी दोषी होंगे, उन पर कार्रवाई की जाएगी।

‘सबूतों के आधार पर ही कार्रवाई’
वहीं डिप्टी सीएम अरुण साव ने कहा कि ईडी हो या ईओडब्लू, जांच एजेंसिया सबूतों के आधार पर ही कार्रवाई करती है। जहां-जहां सबूत मिलेगा, वो वहां-वहां पर कार्रवाई  करेगी। इसके अलावा विपक्ष के इंडिया गठबंधन पर कहा कि जब से गठबंधन बना है, वो आपस में उलझ रहे हैं। उन्हें एक-दूसरे पर भरोसा नहीं है इसलिए जनता भी ऐसे गठबंधन पर भरोसा नहीं करेगी। उन्होंने कहा कि लोकसभा चुनाव को लेकर समीक्षा की गई है। इस चुनाव में पार्टी योग्य और जितने वाले उम्मीदवारों को ही मौका देगी। पार्टी सभी चुनाव को गंभीरता से लेती है। लोकसभा चुनाव को लेकर पार्टी पूरी ताकत से जुट गई हुई। हमें विश्वास है कि जो जनता ने जो भरोसा बीजेपी पर किया है, उस पर हम खरा उतरेंगे। राज्य की 11 की 11 लोकसभा सीटें जीतेंगे।

इनके यहां छापे
ईओडब्ल्यू ने जिनके यहां छापा मारे हैं, उनमें पूर्व मुख्य सचिव विवेक ढांढ, पूर्व आईएएस निरंदास दास, पूर्व आईएएस अनिल टुटेजा, सरकारी शराब कंपनी के पूर्व एमडी अरुणपति त्रिपाठी, आबकारी अधिकारी सौरभ बख्शी, अशोक सिंह, अरविंद सिंह, सिद्धार्थ सिंघानिया, अनवर ढेबर और नोएडा में विधु गुप्ता आदि शामिल हैं।

जनवरी 2024 में एफआईआर 
एसीबी और ईओडब्ल्यू ने ईडी के पत्र के आधार पर जनवरी 2024 में एफआईआर दर्ज की है। ईओडब्ल्यू के दर्ज एफआईआर में अनिल टुटेजा, अरुणपति त्रिपाठी और अनवर ढेबर को शराब घोटाला का मास्टरमाइंड बताया गया है। एफआईआर में शामिल बाकी आईएएस और अन्य सरकारी अफसर और लोग सहयोग किये थे। शराब घोटाला से होने वाली आमदनी का एक बड़ा हिस्सा इन्हीं तीनों को जाता था। टुटेजा आईएएस अफसर हैं, जब  घोटाला हुआ तब वे वाणिज्य एवं उद्योग विभाग के संयुक्त सचिव थे। दूरसंचार सेवा से प्रतिनियुक्ति पर आए त्रिपाठी आबकारी विभाग के विशेष सचिव और छत्तीसगढ़ मार्केटिंग कॉर्पोरेशन के एमडी थे। वहीं अनवर ढेबर रायपुर के मेयर एजाज ढेबर के बड़े भाई और शराब कारोबारी है।

छत्तीसगढ़ में भ्रष्टाचार रोकने ACB फिर हुई सक्रीय: शराब और कोयला घोटाले में दो पूर्व मंत्री, पूर्व विधायक, पूर्व CS ढांड, IAS अधिकारियों सहित कई नेताओं का नाम शामिल, FIR दर्ज

100 लोगों के खिलाफ है नामजद एफआईआर
ईडी ने शराब और कोयला घोटाला मामले में दो पूर्व मंत्रियों, विधायकों सहित 100 लोगों के खिलाफ नामजद एफआईआर दर्ज कराई थी। इनमें कांग्रेस सरकार में आबकारी मंत्री रहे कवासी लखमा, खाद्य मंत्री, पूर्व विधायक, गुलाब कमरो, शिशुपाल का नाम शामिल है। इनके अलावा 2 निलंबित आईएएस, रिटायर्ड आईएएस,अफसर और कांग्रेस कोषाध्यक्ष समेत अन्य के नेताओं के नाम भी शामिल हैं।

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